UPSC Prelims:: Examination Hall strategy


कृपया धयान दें।

जो लोग कल UPSC(IAS) प्री की परीक्षा देने जा रहे हैं, वे कृपया एकबार जरूर ध्यान दें।

#मेरे अनुभव के आधार पर कुछ Smart Tricks ..

१-आईएएस प्री exam में GS में सबसे पहले वही प्रश्न attempt करने चाहिए, जिसमे आप 100% sure हों। याद रहे upsc कठिन questions के बीच आसान questions को छुपा कर रखता है। पहले roundमें आपको उन्ही प्रश्नों को ढूंढ कर हल करने है।
२-यदि पहले round में आपके 40 प्रश्न (जिसमें आप 100% sure हैं की सही है) से कम प्रश्न हो रहे हैं, तो आपको कम से कम 100 प्रश्न में 80-85 (easy plus moderate) प्रश्न attempt करने चाहिए।अन्यथा आपका fight से बाहर होने का risk रहेगा। यदि पहले round में आपके 30 से भी कम प्रश्न हो पा रहे हैं, तो आपको सभी 100 प्रश्न attempt करने चाहिए। क्योंकि प्रश्न छोड़नेसे अच्छा है की सारे प्रश्न attempt कर लीजिये। क्या पता क़िस्मत साथ दे ही दे और प्री clear हो जाय।
३-IAS प्री में कई प्रश्नों को, विकल्प या कथनों के analysis या विकल्प को eliminate करके solve किये जातेहैं। चाहे आपको questions का answer पता हो या नहीं, फिर भी आख़िरी क्षण तक जूझना चाहिए, कभी कभी options के elimination से questions हल हो जाते हैं।
४-याद रहे upsc कथन या विकल्प बनाने में ही ज़्यादा मेहनत करता है और कुछ key words केमाध्यम से trapping जाल बिछाता है।
५-यदि किसी कथन या विकल्प में कहीं key words जैसे 'केवल' 'सभी' 'पूरी तरह' 'असंभव' 'एकमात्र' 'पूर्णतः' 'सदैव' 'सर्वाधिक' 'बाध्यकारी' आदि शब्द दिखे तो वहाँ कुछ क्षण केलिए जरूर रुक जाइये। क्योंकि ऐसेकथन या विकल्प के गलत होने की संभावना ज़्यादा रहती है या यहीं पर फ़साने का प्रयास करता है।
६-यदि किसी कथन या विकल्प में में संयुक्त राष्ट्र (UN) के किसी अभिकरण(Agency) संस्था या किसी अन्य अन्तरष्ट्रीय संगठन (आर्थिकया पर्यावरणीय) से सम्बंधित अभिकरण या संस्था या उससे संबंधित रिपोर्ट पूछा गया है तो वहाँ एक पल के लिए जरूर रुक चाहिए या यदि भारत के किसी आयोग, योजना, कार्यक्रम, मंत्रालय या किसी अधिनियम से संबंधित प्रश्न पूछे तो उस पर भी थोड़ा जरूर ध्यान देना चाहिए।
७-कभी ऐसे प्रश्न जैसे कोईयोजना/कार्यक्रम/­­­­­­पोर्टल किस मंत्रालय के तहत/अधीन लांच किया गया, ऐसे प्रश्न पूछ लिया जाता है, upsc यहाँ भी फ़साने का प्रयत्न करता है।
८- कुछ प्रश्न ऐसे पूछ लिए जाते है कि हाल ही समाचारों या सुर्खियोंमें रहने वाला शब्द 'UDAY' किससे संबंधित है तो ऐसे प्रश्न कभी कभी इनके full form पता होने से निकल जाते हैं।
९-UPSC किसी प्रश्न में यदि कई कथन दिये हो तो कभी-कभी 2 या 3 कथन एक दूसरे से connect दिखाई देते हैं,तो ऐसे कथन के सत्य होने की संभावना ज्यादा रहती है।
१०-कभी कभी upsc कुछ fake आँकड़े दे कर वहाँ फ़साने का प्रयास करता है। जैसे कि मान लीजिए प्रश्न दे दिया कि 'ऑपेरशन ग्रीन' के बारे में कौन-कौन से कथन सत्य है और कथनदे दिया कि 1-यह बजट 2017-18 मेंलांच किया गया। 2-इसकेलिए 5000 करोड़ रुपये का फण्ड स्थापित किया गया। तो यहाँ दोनों कथन गलत हैं।इस प्रकार आप छोटी-छोटी बातों को, बारीकी से ध्यान दे कर selection पा सकते हैं
#नोट:-कृपया जाते जाते पिछले 2-3 साल के पेपर को एक बार जरूर देख लीजियेगा, सिर्फ ये समझने के लिए की upsc कहाँ कहाँ फ़साने का प्रयास करता है। बाक़ी ईश्वर पर भरोसा रखिए। सब ठीक होगा।
All The Best..😊

UPSC prelims

The Asian Elephant Alliance has been formed to tackle the crisis faced by Asian Elephants. The member organizations are Elephant Family, International Fund for Animal Welfare (IFAW), IUCN Netherlands, Wildlife Trust of India and World Land Trust. Asian Elephant (Elephas maximus) is listed under the endangered category of IUCN Red List. Additional Information: African Elephant (Elephas maximus) is listed under the vulnerable category of IUCN Red List.

UPPCS:: last 5 months strategy

UPPCS prelims 2019::

2019 पीसीएस की प्रारम्भिक परीक्षा 20 अक्तूबर को प्रस्तावित है और इसका मेंस जून 2020 तक होने की उम्मीद है। पिछली चार परीक्षाएँ आयोग ने निर्धारित समय पर ली हैं तो ये माना जा सकता है कि आने वाली परीक्षाएँ भी दी हुई तारीख पर ही होंगी। रिज़ल्ट के मामले में आयोग ढीला है पर इस मसले पर जागरूक साथी समय-समय पर दबाव बनाते रहते हैं। ऐसे मामलों में सभी प्रतियोगियों को सभी भेदभाव और पूर्वाग्रह त्याग कर अपना नैतिक समर्थन जरूर देना चाहिए, क्योंकि अगर आयोग की कार्यशैली में सुधार होता है तो वो सबके हित में होगा।

विरोध और विरोध के नैतिक समर्थन या विरोध के विरोध के अलावा हमारा मुख्य और सबसे जरूरी काम है बिना विचलित हुए तैयारी करते रहना। तैयारी के क्रम में अगर बात करें तो कुछ चीजें ध्यान में रखनी जरूरी हैं। आजकल सोशल मीडिया, यूट्यूब और इंटरनेट पढ़ाई के लिए एक सशक्त माध्यम बन के उभरे हैं। ये फायदा भी कर रहे हैं और नुकसान भी, अधिकांश चैनल आपको तैयारी के नाम पर शॉर्टकट और ट्रिक्स सिखा रहे हैं, नए अभ्यर्थी इनको सीख कर बहुत खुश हो जाते हैं लेकिन वो ये भूल जाते है की ये चीज आपकी बुद्धि कुंद कर रही है। ये सब वनडे एक्जाम में तो काम आ सकती है लेकिन पीसीएस और आईएएस जैसे अथाह सिलैबस वाले एक्जाम में ये आपके किसी काम की नहीं। मैं ये नहीं कह रहा की ट्रिक्स और म्नेमोनिक्स काम नहीं आते है लेकिन वो जो आपने खुद बनाए होते है उस टॉपिक विशेष को पढ़ते समय। यूट्यूब चैनल फायदेमंद है अगर वो आपको विषय और टॉपिक का कान्सैप्ट समझा रहा है और आपको इस लायक बना रहा है की आप खुद विश्लेषण कर सके। वहीं अगर वो ये कहता है की “बस इतना कर लो”, “रट लो”, “इसके बाहर नहीं आयेगा” “सबसे आसान ट्रिक्स” तो समझ जाइए कि वो आपके और आपके सपने के बीच में आने वाला सबसे बड़ा रोड़ा है। आपकी सबसे अच्छी दोस्त आपकी किताबें है उनसे दोस्ती गहरी कीजिये, अपना समय उनके साथ बिताइये, वो एक्जाम में आपका साथ निभाएँगी। 

इसके अलावा हर पीडीएफ़ हर किताब को सहेजना बंद करना होगा, इन सब के चक्कर में आप जो पढ़ना है वो छोड़ कर बहुत सारा वो सब पढ़ जाते है जो नहीं पढ़ना चाहिए इसके अलावा इन सब से आपका फोन मेमोरी फुल् होने से और हैंग होना शुरू कर देता है। तो इन से दूरी बनाइये और खुद को और अपने फोन को हैंग होने से बचाइए। हर टॉपिक की मानक किताब खरीदिए नहीं खरीद सकते तो मन ही मन लेखक से क्षमा मांगते हुए pirated पीडीएफ़ download कर डालिए क्योंकि बहुत सी अच्छी किताबों की फ्री ऑनलाइन pirated पीडीएफ़ घूम रहीं है। अङ्ग्रेज़ी हिन्दी के द्वंद्व से बाहर निकलिए क्योंकि हिन्दी हो या अङ्ग्रेज़ी बिना सही उत्तर लिखे अंक नहीं मिलेंगे। हिन्दी में ही अगर आप बेहतर लिखते हैं तो अङ्ग्रेज़ी वाले से ज्यादा अंक पा जाएँगे।

इतनी बातें ध्यान में रखते हुए अगर आप तैयारी शुरू करते हैं तो बहुत जल्दी अपनी यात्रा पूरी कर लेंगे, वरना भटकने के बहाने हजार हैं। पीसीएस प्री के लिए अगर सामग्री की बात करें तो मैं कुछ किताबें बता रहा हूँ जो आपके लिए प्री और मेंस दोनों में काम आएंगी।

@ इतिहास: -
# प्राचीन भारत: - आर एस शर्मा
# मध्यकालीन भारत: - सतीश चंद्रा
(ये दोनों टॉपिक केवल प्री में है इसलिए इनकी जगह केवल किरण प्रकाशन की किताब से भी काम चल जाएगा)
# आधुनिक भारत: - स्पेकट्रूम (राजीव अहीर ) या बिपन चंद्रा (स्पेकट्रूम बेहतर है)

@ भूगोल:- सविन्द्र सिंह; महेश कुमार बर्नवाल या वाणी (अगर केवल प्री के लिए पढ़ना है तो) और ऑक्सफोर्ड स्टूडेंट एटलस (maping के लिए)

@ इकॉनमी: - संजीव वर्मा / रमेश सिंह/ एस एन लाल

@ राज्यव्यवस्था (पोलिटी): - लक्ष्मीकान्त की भारतीय राजव्यवस्था

@ पर्यावरण एवं परिस्थितिकी :- परीक्षा वाणी, शंकर आईएएस के नोट्स (प्री और मेंस दोनों की तैयारी साथ करना हो तो)

@ सामान्य विज्ञान: - lucent

@ जनसंख्या-नगरीकरण: - परीक्षा वाणी (पतली वाली)

@ उत्तर प्रदेश विशेष : - परीक्षा वाणी

@ करेंट अफेयर्स : - दृष्टि, क्रोनिकल, लक्ष्य, घटनाचक्र या कोई और अच्छी मंथली मैगज़ीन

इनके अलावा प्री के लिए घटनाचक्र पूर्वावलोकन की पूरी सिरीज़ बहुत जरूरी है, जो टॉपिक पढ़ते जाये उसे पूर्वावलोकन से लगाते जाएँ, और इसका बार बार रिवीजन करें।

ये सब किताबें जुगाड़ के दुनिया को उसके हाल पे छोड़िए और राशन पानी लेकर कमरा बंद करके किताबों में जी जान लगाइये और एक दिन यहीं अपने शानदार रिज़ल्ट की शानदार घोषणा करिए।

...All the best🌟🌟🌟✨✨🌾🌾✨

UPPCS STRATEGY 2019 PRELIMS

इस बार लगभग साढ़े चार लाख से भी अधिक लोगों ने प्री का एक्जाम दिया था जिनमे से लगभग 19000 लोग पास हुए मेंस देने के लिए और इन 19000 लोगों में 2700 के आसपास साक्षात्कार तक पहुंचेंगे। 2018 के प्री के रिज़ल्ट ने दो बाते साफ कर दी हैं। पहली ये कि कॉम्पटीशन बढ़ रहा है और ये अब लगातार बढ़ता जाएगा और दूसरी ये कि इस बढ़े कॉम्पटीशन कि वजह से अब नेगेटिव मार्किंग के बावजूद भी कटऑफ ऊपर जाएगी।

इसके कारणों में से एक कारण नया पैटर्न है जिसकी वजह से अब वो लोग भी यहाँ का एक्जाम देने लगे है जो पहले मेंस का पैटर्न अलग होने कि वजह से या तो उत्तर प्रदेश पीसीएस की तैयारी ही नहीं करते थे या आधी अधूरे मन से परीक्षा देते थे। दूसरा कारण ये है कि अब यूपीएससी की तरह यहाँ भी इंजीनियरिंग और अन्य उच्च डिग्री धारक भी परीक्षा में शामिल होने लगे हैं। लेकिन इस से परंपरागत परीक्षार्थियों को घबराने की जरूरत नहीं है क्योंकि हर परीक्षा का एक सार्वभौमिक नियम है कि “जो पढ़ेगा वही पास होगा”। सफलता की एक ही कुंजी है जो कभी धोखा नहीं देती – ईमानदारी से की गयी पढ़ाई और मेहनत।  लेकिन ये पढ़ाई और मेहनत तभी फल देगी जब ये सही दिशा में, सही और उपयुक्त सामग्री के साथ सिस्टेमैटिक और रेगुलर तरीके से की जाएगी।

2018 के पहले लोग केवल वाणी और घटनाचक्र के सहारे प्री और मेंस दोनों निकाल लेते थे। लेकिन अब इनका जमाना लद चुका है, मैं ये नहीं कह रहा हूँ कि ये अब बिलकुल अप्रासंगिक हो गयी है, ये सहायक सामग्री के तौर पर तो काम आ सकती है लेकिन केवल इन्ही को आधार बना कर तैयारी करना आत्मघाती होगा। इन के सहारे अब आप मुक़ाबला नहीं कर सकेंगे, युद्ध के नियम बदलने पर हथियार भी बदलने पड़ते हैं।

मैं एक बार फिर से ज़ोर देकर कह रहा हूँ कि अब वही सफल होगा जो प्री की साथ साथ मेंस पर भी ज़ोर देगा। अब केवल प्री की तैयारी करते रहने से काम नहीं चलेगा। पहले प्री और मेंस की दोनों की जीएस लगभग एक जैसी और ओब्जेक्टिव थी लेकिन अब ऐसा नहीं है। आप के पास अब जो समय है वो बस पर्याप्त है, न ये समय बहुत ज्यादा न ही कम है। अगर सितंबर-अक्तूबर में प्री हो जाता है तो आपका मेंस जून 2020 के आसपास होगा आपके पास मात्र एक साल है जिसमे आपको इस अथाह GS और ऑप्शनल में पारंगत होना है। आपको अभी उन टोपिक्स पर ज्यादा समय देना चाहिए जो मेंस और प्री दोनों में हैं इससे बिना एक्स्ट्रा बोझ आए आप प्री और मेंस दोनों की बेहतर तैयारी कर लेंगे। ध्यान रखिए पीसीएस बनने के लिए प्री और मेंस दोनों पास होना जरूरी है हम प्री के लिए मेंस को और मेंस के लिए प्री को नजरंदाज नहीं कर सकते।

मेंस के सिलैबस का विश्लेषण करने के बाद सामग्री के बारे में भी बात कर लेते हैं। मेंस में कुल मिलाकर आठ पेपर होंगे जिसमे चार जीएस, एक हिन्दी का एक निबंध का और एक ऑप्शनल के दो पेपर होंगे। ऑप्शनल, हिन्दी और निबंध के बारे फिर कभी बात होगी आज जीएस की बात करते हैं

जीएस 1
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जीएस 1 को अगर देखा जाए तो इसके चार मुख्य भाग हैं:-
1. इतिहास: - इसमें कला व संस्कृति (Art & Culture); आधुनिक भारत का इतिहास; स्वतन्त्रता के पश्चात एकीकरण और पुनर्गठन और विश्व इतिहास शामिल हैं।
2. भारतीय समाज, संस्कृति और सामाजिक मुद्दे
3. भूगोल
4. उत्तर प्रदेश का भूगोल व संस्कृति

सामग्री: -
@ कला व संस्कृति के लिए आप कक्षा 11 के NCERT (फ़ाइन आर्ट्स) और नितिन सिंघानिया या दृष्टि कि कला व संस्कृति की किताब में से कोई एक ले सकते हैं।

@ आधुनिक इतिहास के लिए आप बिपिन चंद्रा या स्पेकट्रूम में से कोई एक ले सकते हैं। जो एनसीईआरटी भी पढ़ना चाहते हैं वो कक्षा 6 से 9 और 11 की इतिहास की एनसीईआरटी पढ़ सकते हैं।

@ विश्व इतिहास के लिए नॉर्मन लोव की किताब आती है।

@ पोस्ट इंडिपेंडेंट पीरियड के लिए बिपिन चंद्रा की इंडिया आफ्टर इंडिपेंडेंस (हिन्दी में नाम नहीं याद आ रहा) ले सकते हैं, ये पूरी नहीं पढ़नी है बस सेलेक्टिव हिस्सा ही पढ़ना है।

@ भारतीय संस्कृति समाज और सामाजिक मुद्दे के लिए राम आहूजा की भारत की सामाजिक समस्याएँ नाम से किताब आती है इसके साथ ये टॉपिक आपके करेंट को भी कवर करेगा तो ऐसे में अख़बार और पत्रिकाओं पर भी नजर रखनी है।

@ भूगोल के लिए जीसी लेओंग और सविन्द्र सिंह या  बर्नवाल में से कोई एक। 

इनमें से टॉपिक 1, 3 और 4 आपके प्री के लिए भी तैयार हो जाएँगे। इतिहास में प्री के लिये आपको केवल प्राचीन भारत और मध्यकालीन भारत ही अलग से तैयार करना होगा इसके लिए अगर आप कम समय में ज्यादा आउटपुट चाहते हैं तो किरण प्रकाशन की किताब आती है इतिहास के लिए उसे तैयार कर लीजिये और घटनाचक्र पूर्वावलोकन लगा डालिए। पोस्ट थोड़ी लंबी हो गयी है तो बाकी अगली पोस्ट में ....

महत्वपूर्ण GK ट्रिक्स/One day exam/gk tricks

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